दिल्ली विधान सभा का चुनाव फरवरी में होने जा रहा है,1993 में दिल्ली को राज्य बनवाने के बाद बीजेपी ने मदनलाल खुराना के नेतृत्य में सरकार ज़रूर बनाई थी लेकिन उसके बाद 15 साल शीला दीक्षित के नेतृत्व में कांग्रेस और अब पिछले 10 साल से अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में आप आदमी पार्टी की सरकार, दिल्ली की सत्ता से बीजेपी की दिल्ली राज्य की सत्ता से बेदखल किए हुए है लेकिन इस बार बीजेपी पीएम मोदी के चेहरे के साथ एक अलग रणनीति के साथ दिल्ली चुनाव में उतरने की योजना बना रही है इसी के चलते उसने अभी तक अपना कोई प्रत्याशी घोषित किया है बल्कि AAP ने सभी 70 विधान सभाओं में तो कांग्रेस ने 46 विधानसभाओं में उम्मीदवार घोषित कर दिए हैँ जबकि बीजेपी दोनों पार्टियों के उम्मोदवारों को देखकर अपना उम्मीदवार उतारेगी तो दूसरी ओर विकास योजनाएं और पीएम के चेहरे के सहारे भाजपा दिल्ली में 10 वर्ष से काबिज आम आदमी पार्टी को बाहर का रास्ता दिखाकर खुद सत्ता में वापिस बैठने की कोशिश करेगी।
PM मोदी के इन दो कार्यक्रमों से चुनावी आगाज़
बता दें कि PM मोदी 28 दिसंबर को रोहणी के जापानी पार्क में कार्यक्रम कर मेट्रो फेज-चार का उद्घाटन करेंगे। इसी दिन न्यू अशोक नगर तक नमो भारत का परिचालन शुरू हो सकता है। इसके बाद 3 जनवरी को उत्तर-पूर्वी दिल्ली में कार्यक्रम किया जाएगा। यहां पीएम दिल्ली देहरादून एक्सप्रेसवे के दो चरणों का उद्घाटन कर सकते हैं। दोनों कार्यक्रमों में दिल्ली से जुड़ी अन्य विकास योजनाओं का भी उद्घाटन किया जा सकता है। प्रशासनिक स्तर पर इसकी तैयारी शुरू हो गई है। द्वारका एक्सप्रेसवे का उद्घाटन भी किया जा सकता है। इस दौरान प्रमुख रूप से सुषमा स्वराज की बेटी बांसुरी स्वराज को प्रोजेक्ट किया जायेगा। इसी के साथ भाजपा ने संगठन स्तर पर भी कार्यक्रम की तैयारी शुरू कर दी है। दिल्ली के दो बड़े क्षेत्रों में पीएम मोदी के कार्यक्रमों के बाद युद्ध स्तर पर भाजपा अन्य नेताओं के कार्यक्रमों को क्षेत्रवार लगाकर दिल्ली विधान सभा के चुनाव अपने पक्ष में मोड़ेगी।
